Hot Posts

6/recent/ticker-posts

🇫🇷 न्याय का नया अध्याय: फ्रांस ने दिखाया साहस, फिलिस्तीन को दी मान्यता – डॉ. अनीस नगरामी ने इसे "मानवता और न्याय की जीत" दिया करार


तहलका टुडे टीम

लखनऊ: अंतरराष्ट्रीय स्तर पर बहुचर्चित मुद्दे फिलिस्तीन को लेकर एक ऐतिहासिक मोड़ आया है। फ्रांस के राष्ट्रपति इमैनुएल मैक्रों ने संयुक्त राष्ट्र में सितंबर 2025 में फिलिस्तीन को स्वतंत्र राष्ट्र के रूप में मान्यता देने की घोषणा की है।
इस महत्वपूर्ण निर्णय पर प्रतिक्रिया देते हुए ऑल इंडिया मुस्लिम इंटेलेक्चुअल सोसाइटी के महासचिव डॉ. अनीस नगरामी ने इसे "मानवता और न्याय की जीत" करार दिया है।

उन्होंने कहा कि जी7 देशों में फ्रांस पहला देश बन गया है जिसने यह साहसिक और नैतिक निर्णय लिया है। यह केवल एक कूटनीतिक घोषणा नहीं, बल्कि उन लाखों बेघर और पीड़ित फिलिस्तीनियों के हक़ में उठाया गया एक ठोस कदम है।

🗣️ "फ्रांस ने वह कर दिखाया है जो बाकी शक्तिशाली देश अब तक कहने से भी हिचक रहे थे," – डॉ. अनीस नगरामी

🌍 जमीनी हालात बेहद भयावह

गाज़ा पर जारी हमलों के बीच, जहां 60,000 से ज्यादा लोगों की जान जा चुकी है, और 9 लाख बच्चे भूख और कुपोषण का शिकार हैं — वहां यह मान्यता एक उम्मीद की किरण बनकर सामने आई है।

संयुक्त राष्ट्र की रिपोर्टों के अनुसार, फिलिस्तीनियों के लिए हालात हर रोज़ बदतर होते जा रहे हैं, और ऐसे समय में फ्रांस का यह कदम एक नैतिक जागरूकता का प्रतीक है।

🌐 दुनिया को अब दिखाना होगा ज़मीर

डॉ. नगरामी ने अपने बयान में ब्रिटेन, जर्मनी और कनाडा जैसे देशों से भी अपील की कि वे अब चुप्पी तोड़ें और फ्रांस की राह पर चलें। उन्होंने कहा कि “यह अब केवल फिलिस्तीन का नहीं, पूरी इंसानियत का मामला है।”

उन्होंने स्पेन के प्रधानमंत्री के उस बयान को भी उद्धृत किया जिसमें कहा गया था:

🗨️ "हमें उन मूल्यों की रक्षा करनी चाहिए जिन्हें नेतन्याहू की सरकार नष्ट कर रही है।"

मान्यता नहीं, इंसाफ़ की बहाली है

डॉ. अनीस नगरामी ने इस कदम को "बहुत देर से लिया गया लेकिन बिल्कुल जरूरी फैसला" बताया और कहा कि यह विश्व समुदाय की असल परीक्षा का वक्त है — क्या वे न्याय के साथ खड़े होंगे, या ज़ुल्म के सामने चुप रहेंगे?


📢 "फ्रांस ने इतिहास में इंसाफ़ का पन्ना लिखा है, अब बाकी देशों को भी अपनी ज़मीर की आवाज़ सुननी होगी" – डॉ. अनीस नगरामी

Post a Comment

0 Comments